रालेगण सिद्धि (महाराष्ट्र) ! सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे ने शनिवार को मांग की कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी लोकसभा चुनाव के दौरान किया गया अपना वादा पूरा करें, जिसमें उन्होंने विदेशों में जमा काला धन वापस लाने की बात कही थी। अन्ना ने कहा है कि ऐसा न होने पर वह इसके खिलाफ आंदोलन शुरू करेंगे। अन्ना ने कड़े शब्दों में लिखे एक पत्र में कहा है कि लोकसभा चुनाव अभियान के दौरान मोदी ने देशवासियों से वादा किया था कि वह विदेशी बैंकों में जमा काला धन 100 दिनों के अंदर वापस लाएंगे।
अन्ना ने पत्र में कहा है, "आपकी सरकार बने पांच महीने हो चुके हैं, लेकिन इस संबंध में कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है, लोकपाल की नियुक्ति के संबंध में भी कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है। देश की जनता को आश्चर्य हो रहा है कि कहीं ये सब वोट हासिल करने का शिगूफा तो नहीं था।"
अन्ना ने कहा है कि यद्यपि विदेशों में जमा काला धन लाने के मुद्दे पर एक विशेष जांच दल एसआईटी गठित किया गया है, लेकिन सरकार सर्वोच्च न्यायालय से कह रही है कि विदेशी बैंकों में धन जमा करने वालों के नामों का खुलासा नहीं किया जा सकता। सरकार का इस कदम ने सभी को चकित कर दिया है।
अन्ना ने कहा है, "सरकार ने अपने हलफनामे में जिन तथाकथित तकनीकी बाधाओं का जिक्र किया है, वे बाधाएं उस समय में थीं, जब चुनाव अभियान के दौरान वादे किए गए थे। जनता को संदेह हो रहा है कि कहीं यह सिर्फ एक चुनावी स्टंट तो नहीं था।"
अन्ना ने कहा है कि मोदी ने अपनी हाल के जापान और अमेरिका दौरों के दौरान जोशपूर्ण भाषण दिए थे। "मैं भी बहुत प्रभावित था.. लेकिन अब मुझे यह जानकर दुख हो रहा है कि आपकी कथनी और करनी में बहुत बड़ा फर्क है.. पिछले 67 वर्षो का जनता का अनुभव यही रहा है कि सिर्फ भाषणबाजी से बदलाव नहीं होता, कथनी और करनी एक होनी चाहिए।"
अन्ना ने देशवासियों की ओर मोदी से आग्रह किया है कि इस मुद्दे पर सख्त दृष्टिकोण अपनाएं, वर्ना वह इसके खिलाफ आंदोलन शुरू करने से जरा भी नहीं हिचकेंगे।
अन्ना ने पत्र में कहा है, "आपकी सरकार बने पांच महीने हो चुके हैं, लेकिन इस संबंध में कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है, लोकपाल की नियुक्ति के संबंध में भी कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है। देश की जनता को आश्चर्य हो रहा है कि कहीं ये सब वोट हासिल करने का शिगूफा तो नहीं था।"
अन्ना ने कहा है कि यद्यपि विदेशों में जमा काला धन लाने के मुद्दे पर एक विशेष जांच दल एसआईटी गठित किया गया है, लेकिन सरकार सर्वोच्च न्यायालय से कह रही है कि विदेशी बैंकों में धन जमा करने वालों के नामों का खुलासा नहीं किया जा सकता। सरकार का इस कदम ने सभी को चकित कर दिया है।
अन्ना ने कहा है, "सरकार ने अपने हलफनामे में जिन तथाकथित तकनीकी बाधाओं का जिक्र किया है, वे बाधाएं उस समय में थीं, जब चुनाव अभियान के दौरान वादे किए गए थे। जनता को संदेह हो रहा है कि कहीं यह सिर्फ एक चुनावी स्टंट तो नहीं था।"
अन्ना ने कहा है कि मोदी ने अपनी हाल के जापान और अमेरिका दौरों के दौरान जोशपूर्ण भाषण दिए थे। "मैं भी बहुत प्रभावित था.. लेकिन अब मुझे यह जानकर दुख हो रहा है कि आपकी कथनी और करनी में बहुत बड़ा फर्क है.. पिछले 67 वर्षो का जनता का अनुभव यही रहा है कि सिर्फ भाषणबाजी से बदलाव नहीं होता, कथनी और करनी एक होनी चाहिए।"
अन्ना ने देशवासियों की ओर मोदी से आग्रह किया है कि इस मुद्दे पर सख्त दृष्टिकोण अपनाएं, वर्ना वह इसके खिलाफ आंदोलन शुरू करने से जरा भी नहीं हिचकेंगे।